मौर्य राजवंश
प्राचीन भारतीय साम्राज्य (322–185 ईसा पूर्व) / From Wikipedia, the free encyclopedia
मौर्य राजवंश या मौर्य साम्राज्य (ल. 322–185 ई.पू), प्राचीन भारत का एक शक्तिशाली राजवंश था। मौर्य राजवंश ने 137 वर्ष भारत में राज्य किया। इसकी स्थापना का श्रेय चन्द्रगुप्त मौर्य और उसके मंत्री चाणक्य को दिया जाता है। यह साम्राज्य पूर्व में मगध राज्य में गंगा नदी के मैदानों (आज का बिहार एवं बंगाल) से शुरु हुआ। इसकी राजधानी पाटलिपुत्र (आज के पटना शहर के पास) थी।[7]
मौर्य साम्राज्य मौर्य राजवंश | |||||||||||||||||||||
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ल. 322 ई.पू–ल. 185 ई.पू | |||||||||||||||||||||
राजधानी | पाटलिपुत्र (वर्तमान समय का पटना, बिहार) | ||||||||||||||||||||
प्रचलित भाषाएँ | संस्कृत मागधी प्राकृत | ||||||||||||||||||||
धर्म | |||||||||||||||||||||
सरकार | चाणक्य के अर्थशास्त्र और राजमण्डल में वर्णित राजतंत्र[3] | ||||||||||||||||||||
सम्राट | |||||||||||||||||||||
• 322–298 ई.पू | चन्द्रगुप्त मौर्य | ||||||||||||||||||||
• 298–272 ई.पू | बिन्दुसार | ||||||||||||||||||||
• 268–232 ई.पू | अशोक | ||||||||||||||||||||
• 232–224 ई.पू | दशरथ मौर्य | ||||||||||||||||||||
• 224–215 ई.पू | सम्प्रति | ||||||||||||||||||||
• 215–202 ई.पू | शालिशुक | ||||||||||||||||||||
• 202–195 ई.पू | देववर्मन | ||||||||||||||||||||
• 195–187 ई.पू | शतधन्वा | ||||||||||||||||||||
• 187–185 ई.पू | बृहद्रथ | ||||||||||||||||||||
ऐतिहासिक युग | लौह युग | ||||||||||||||||||||
ल. 322 ई.पू | |||||||||||||||||||||
ल. 185 ई.पू | |||||||||||||||||||||
क्षेत्रफल | |||||||||||||||||||||
• कुल | 5,000,000 कि॰मी2 (1,900,000 वर्ग मील) 1st In India) | ||||||||||||||||||||
261 ई.पू[4] | 3,400,000 कि॰मी2 (1,300,000 वर्ग मील) | ||||||||||||||||||||
250 ई.पू[5] | 5,000,000 कि॰मी2 (1,900,000 वर्ग मील) | ||||||||||||||||||||
जनसंख्या | |||||||||||||||||||||
• 261 ई.पू[6] | 5 करोड़ | ||||||||||||||||||||
मुद्रा | पण | ||||||||||||||||||||
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अब जिस देश का हिस्सा है | भारत बांग्लादेश पाकिस्तान नेपाल अफगानिस्तान |
चन्द्रगुप्त मौर्य ने 322 ईसा पूर्व में इस साम्राज्य की स्थापना की और तेजी से पश्चिम की तरफ़ अपना साम्राज्य का विस्तार किया। उसने कई छोटे-छोटे क्षेत्रीय राज्यों के आपसी मतभेदों का फायदा उठाया जो सिकन्दर के आक्रमण के बाद पैदा हो गये थे। 316 ईसा पूर्व तक मौर्यवंश ने पूरे उत्तरी पश्चिमी भारत पर अधिकार कर लिया था। चक्रवर्ती सम्राट अशोक के राज्य में मौर्यवंश का वृहद स्तर पर विस्तार हुआ। सम्राट अशोक के कारण ही मौर्य साम्राज्य सबसे महान एवं शक्तिशाली बनकर विश्वभर में प्रसिद्ध हुआ।