Loading AI tools
2003 की हैरी बावेजा की फ़िल्म विकिपीडिया से, मुक्त विश्वकोश
कयामत (अंग्रेज़ी: Qayamat: City Under Threat) 2003 में बनी हिन्दी भाषा की रूमानी थ्रिलर फिल्म है। इसका निर्देशन हैरी बवेजा द्वारा किया गया और मुख्य भूमिकाओं को अजय देवगन, सुनील शेट्टी, संजय कपूर, अरबाज़ ख़ान, ईशा कोपिकर, नेहा धूपिया और आशीष चौधरी द्वारा चित्रित किया गया।
कयामत | |
---|---|
कयामत का पोस्टर | |
निर्देशक | हैरी बवेजा |
पटकथा | सुपर्ण वर्मा |
निर्माता | परमजीत बवेजा |
अभिनेता |
अजय देवगन, सुनील शेट्टी, संजय कपूर, अरबाज़ ख़ान, ईशा कोपिकर, नेहा धूपिया, आशीष चौधरी |
संगीतकार | नदीम-श्रवण |
प्रदर्शन तिथियाँ |
11 जुलाई, 2003 |
देश | भारत |
भाषा | हिन्दी |
सीबीआई में काम करने वाले अकरम शेख (सुनील शेट्टी) को तीन आतंकवादियों को पकड़ने का काम सौंपा जाता है। इन तीन आतंकवादियों में दो भाई, अली (संजय कपूर) और अब्बास रमानी (अरबाज़ खान) और उनकी प्रेमिका लैला (ईशा कोपिकर) हैं। ये तीनों पाकिस्तानी सेना के एक अफसर राशिद (दीप ढीलों) के कहने पर काम करते हैं। उन लोग भारत सरकार से फिरोती में पैसे मांगने के लिए एक योजना बनाते हैं। इसके तहत वे लोग मुंबई में तीन किलोमीटर तक फैले एल्फिन्स्टोन जेल को अपने कब्जे में ले लेते हैं। वे लोग वाइरस से भरे तीन मिसाइल को भी तैयार रखते हैं। उस जेल में घूमने आए 213 पर्यटकों को भी वे लोग अपने कब्जे में ले लेते हैं और फिरोती के रूप में भारत सरकार से चौबीस घंटे में 1500 करोड़ मांगते हैं। ऐसा न करने पर वे लोग मिसाइल छोड़ने की धमकी देते हैं, जिससे मुंबई में कयामत आ जाएगा।
एल्फिन्स्टोन जेल से एक कैदी, रचित के अलावा उसके पूरे इतिहास में कोई भी भाग नहीं पाया है। इस कारण अकरम को जेल में जाने के लिए रचित की मदद की जरूरत पड़ती है, वो इस बारे में मुख्यमंत्री से बात करता है और वो उसे अनुमति दे देते हैं। रचित जब से अपने प्यार, सपना (नेहा धूपिया) को मरते हुए देखता है, वो अवसाद में चले जाता है और कई सालों से बिना कुछ बोले रहने लगता है। रचित का अली और अब्बास से बहुत पुराना रिश्ता है, वो तीनों पहले साथ में काम करते थे। यही दोनों उसके जेल जाने की वजह हैं और सपना को मारने वाले भी यही होते हैं। रचित को ये पता नहीं होता है कि सपना जीवित है। अकरम और उसके दल के लोग राहुल (आशीष चौधरी) को भी मिसाइल के बारे में जानकारी होने के कारण रख लेते हैं। वे लोग पहले पानी के अंदर से जाते हैं, फिर उस जगह से जाते हैं, जिस जगह से रचित बाहर निकला था। वे लोग उस जेल के अंदर आने में सफल हो जाते हैं, लेकिन उनके आने की जानकारी एक भ्रष्ट नेता उन लोगों को दे देता है, जिससे वे लोग उन्हें मारने के लिए पहले से तैयार रहते हैं। इस घात लगाकर किए गोलीबारी में अकरम और उसके दल के सारे लोग मारे जाते हैं। बस दूर रहने के कारण राहुल और रचित ही किसी तरह बच जाते हैं।
रचित को उस दौरान हर 12 घंटे में पड़ने वाला एक मानसिक दौरा आ जाता है, जिसके कारण उसे हर जगह छाया दिखने लगते हैं। राहुल जो वॉकी-टॉकी द्वारा सीबीआई से बात करते रहता है, वो सीबीआई के मुख्यालय में आई सपना की बात रचित से करवाता है। जैसे ही रचित को पता चलता है कि सपना जीवित है, वो अवसाद से पूरी तरह बाहर आ जाता है। इसके बाद रचित धीरे धीरे वहाँ तैनात सभी आतंकियों को मारने लगता है।
जब राहुल मिसाइल को निष्क्रिय करने में लगा होता है, तब रचित और आतंकियों को मार रहा होता है। रचित जब अब्बास को पकड़े रहता है, तभी लैला भी राहुल को अपने गन के सामने ले लेती है और रचित से अब्बास को छोड़ने को कहती है। राहुल उससे कहता है कि उसे मरने दो, लेकिन अब्बास को मत छोड़ना, और उसके ठीक बाद राहुल के पैर में रचित गोली मार देता है, जिससे वो नीचे गिर जाता है और लैला के सिर पर रचित गोली मार देता है। अब्बास और लैला को मारने के बाद मिसाइल को फिर सक्रिय करने वाले अली को भी वो मार देता है, और रॉकेट जला कर मिशन के सफल होने का इशारा करता है। अंत में जब रचित की मुलाक़ात सपना से होती है तो राहुल को पता चलता है कि वो गूंगा नहीं है और इसी के साथ कहानी समाप्त होती है।
सभी गीत समीर द्वारा लिखित; सारा संगीत नदीम-श्रवण द्वारा रचित।
क्र॰ | शीर्षक | गायक | अवधि |
---|---|---|---|
1. | "ऐतबार नहीं करना" (डुएट) | अभिजीत, साधना सरगम | 4:37 |
2. | "ऐतबार नहीं करना" (सोलो) | अभिजीत | 4:47 |
3. | "दिल चुरा लिया" | अभिजीत, कविता कृष्णमूर्ति | 6:33 |
4. | "मेरा दिल दिल तू ले ले" | महालक्ष्मी अय्यर, शान | 4:56 |
5. | "मुझे तुमसे मोहब्बत है" | कुमार सानु, महालक्ष्मी अय्यर | 5:19 |
6. | "कयामत कयामत हूँ मैं" | हेमा सरदेसाई, सोनू निगम | 5:23 |
7. | "वो लड़की बहुत याद आती है" (डुएट) | कुमार सानु, अलका याज्ञिक | 6:45 |
8. | "वो लड़की बहुत याद आती है" (सोलो) | कुमार सानु | 2:23 |
9. | "यार प्यार हो गया" | अभिजीत, अलीशा चिनॉय | 6:05 |
कुल अवधि: | 46:42 |
Seamless Wikipedia browsing. On steroids.
Every time you click a link to Wikipedia, Wiktionary or Wikiquote in your browser's search results, it will show the modern Wikiwand interface.
Wikiwand extension is a five stars, simple, with minimum permission required to keep your browsing private, safe and transparent.